धनतेरस क्यों मनाया जाता है? जानिए हिंदी में।

दोस्तों आज हम आपको बताएंगे धनतेरस क्या है, धनतेरस क्यों मनाया जाता है? और भी धनतेरस से जुड़ी जैसे पूजा विधि, शुभ मुहूर्त आदि की जानकारी आपको इस आर्टिकल में मिल जाएगी।

धनतेरस का अर्थ क्या है ? – धन का मतलब समृद्धि और तेरस का मतलब तेरहवां दिन होता है। धनतेरस यानी अपने धन को तेरह गुणा बनाने और उसमें वृद्धि करने का दिन।

धनतेरस क्यों मनाया जाता है? जानिए हिंदी में।
धनतेरस क्यों मनाया जाता है? जानिए हिंदी में।

धनतेरस क्यों मनाया जाता है?

दीवाली के दो दिन पहले धनतेरस का पर्व मनाया जाता है। धनतेरस के पर्व से ही दीवाली की शुरुआत मानी जाती है। धनतेरस के दिन माँ लक्ष्मी, भगवान कुबेर और भगवान धन्वंतरि की पूजा की जाती है। दोस्तों भारतीय संस्कृति में स्वास्थ्य का स्थान धन से ऊपर माना जाता रहा है।

यह कहावत आज भी प्रचलित है कि ‘पहला सुख निरोगी काया, दूजा सुख घर में माया’ इसका मतलब – अर्थात शरीर रोगी है तो आप धन कैसे कमाएंगे। यदि पहले से ही बहुत धन है तो वह किसी काम का नहीं। क्योंकि आप धन से रोग तो नहीं मिटता है। यदि आप शरीर से स्वस्थ नहीं होंगे तो आप जीवन का आनंद नहीं ले सकते है।

धनतेरस क्या है?

धनतेरस जो कि दीपावली के दो दिन पहले पड़ता है यह दिन वो होता है जिससे दीपावली की शुरुआत हो जाती है। धनतेरस हिन्दू धर्म के अनुयायियों के द्वारा मनाया जाने वाला एक प्रमुख पर्व है। जैसा कि हम सभी जानते है भारत देश में धनतेरस त्योहार दिन काफी धूम धाम देखी जाती है। धनतेरस के दिन लोग अपने घरों में और मंदिरों में जा कर दिए जलाये जाते है। धनतेरस के दिन भगवान धन्वंतरि, कुबेर और माता लक्ष्मी की पूजा पाठ की जाती है।

धनतेरस का महत्व

शास्त्रों में वर्णित कथाओं के अनुसार समुद्र मंथन के दौरान कार्तिक कृष्ण त्रयोदशी के दिन भगवान धन्वंतरि जब प्रकट हुए थे, तो उनके हाथों में अमृत से भरा कलश था और माना जाता है इसी दिन माँ लक्ष्मी जी भी समुद्र से प्रकट हुई थी। मान्यता है कि भगवान धन्वंतरि विष्णु के अंशावतार हैं। भगवान धन्वंतरी कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को कलश लेकर ही समुद्र से प्रकट हुए थे। संसार में चिकित्सा विज्ञान के विस्तार और प्रसार के लिए ही भगवान विष्णु ने धन्वंतरि का अवतार लिया था। इसलिए दीपावली में सबसे पहले धनतेरस को महत्व दिया जाता है। जो भारतीय संस्कृति के हिसाब से बिल्कुल सही है।

2021 में धनतेरस का त्योहार कब है?

धनतेरस के त्योहार 2021 में 2 नवंबर को है।

धनतेरस 2021: मुहूर्त और पूजा का समय

त्रयोदशी तिथि शुरू- 02 नवंबर, 2021 11:31
त्रयोदशी तिथि समाप्त- 03 नवंबर, 2021 09:02
सूर्योदय- 02 नवंबर, 2021 06:36
सूर्यास्त- 02 नवंबर, 2021 05:44

धनतेरस पूजा विधि- धनतेरस के दिन शाम को पूजाके समय घर की उत्तर तरफ कुबेर और धनवंतरि की स्थापना करें। इसी के साथ मां लक्ष्मी व गणेश की भी प्रतिमा या तस्वीर स्थापित करें. धूप और अगरबत्ती लगाएं. भगवान को लाल रंग के फूल अर्पित करें. भगवान धनवंतरी को पीली मिठाई और कुबेर को सफेद मिठाई अर्पित करें. पूजा के दौरान “ॐ ह्रीं कुबेराय नमः” का जाप करें. धनवंतरि स्तोत्र का पाठ करें. अंत में आरती करें .अब गलती की क्षमा मांगते हुए हाथ जोड़कर प्रणाम करें.

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